महिलाओं/महिलाओं के साथ-साथ हिंसा की घटनाओं को प्रभावी ढंग से रोकने के लिए यह आवश्यक है कि महिलाएं एवं बालिकें भी अपनी सुरक्षा के प्रति स्वयं भी सक्षम हों | रिलिजन देखने में पता चलता है कि महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स छिनना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स छिनना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स चीनना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स छिन्ना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स चीनाना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, श्रेणी और पर्स चीनना जैसी घटनाएं होती हैं, महिला और मित्र के प्रति मुख्य अपराध में उनके साथ संबंध, यौन शोषण या लैंगिक अपराध, शामिल हैं। बनाना आसान लगता है | यदि अपेक्षाएँ होती हैं/महिलाएँ इतनी सक्षम हो जाती हैं कि वे अपने साथ वाले अपराध में कुछ आसान आत्मरक्षा द्वारा ना केवल चुन सकती हैं, बल्कि बच्चे भी अब प्रशिक्षण से सीख कर आत्मरक्षा की आवश्यकताएँ अपना सकते हैं। इस प्रशिक्षण को प्राप्त करने के बाद असुरक्षा की भावना पैदा होती है क्योंकि स्कूल ना जाने वाली दोस्ती की शिक्षा में गुमनामी सुनिश्चित हो सकती है |
यह प्रशिक्षण मॉड्यूल प्रशिक्षकों / खेल अनुदेशकों, विद्यालय की छात्राओं को आत्मरक्षा के लिए प्रशिक्षण विकसित किया गया है | विभिन्न विशेषज्ञ जिनमें आत्मरक्षा प्रशिक्षक, विधिक परामर्शदाता, महिला एवं बाल सुरक्षा संगठन, उत्तर प्रदेश पुलिस, शिक्षा विभाग, यूपीडेस्को, यूनीसेफ एवं तकनीकी सोसायटी एजेंसी के विशेषज्ञ से परामर्श तैयार किया गया है | पाठ्यपुस्तक में प्रशिक्षकों के प्रशिक्षण प्रशिक्षण आत्मरक्षा विषय से संबंधित आवश्यक अध्ययन, चर्चा, विज्ञापन - वीडियो, खोज, महिला और सामग्री के लिए आवश्यक कानून का नामांकन संख्या मूल्यांकन और विभिन्न केश अध्ययन को शामिल करने के लिए छह दिनों की विस्तृत रूपरेखा दी गई है। जिस पर सभी खेल अनुदेशकों के प्रशिक्षकों को आवासीय प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा, इसके बाद अपने-अपने आश्रम में छात्रों को आत्मरक्षा प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। शिक्षकों के लिए मॉड्यूल उपयोग में आवश्यक दिशा-निर्देश प्रत्येक सत्र के अंत में भी दिए गए हैं